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गुरुवार, 20 अगस्त 2020

Dil sach me bachha hai..

 जब कभी रात को नींद आने में आनाकानी करती हैं तो ये भी अपनी कुछ अधूरी ड्रीम डेस्टिनेशन पर निकल पड़ता है...

कभी पूर्णिमा के दिन ताजमहल का रात का नज़ारा देख आता है तो कभी बिना बताए ही धार्मिक हो जाता है ... और पहुंच जाता है गंगा आरती के लिए घाट पर ।।।🌌

1 टिप्पणी:

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