हर घर से वो मोहक सी कपूर की खुशबू आना..वो छोटे छोटे पैरों में पायल पहने लक्ष्मी सा घर में प्रवेश करना...वो छोटे छोटे हाटों से हलवा पूरी का भोग लगाना...आया कुछ समझ..?
जी हां हम बात कर रहे है नवरात्रि के पावन नौ दिनों की, कन्या पूजन की तथा वो दिनों में मां दुर्गा के नौ रूपों से उनकी कहानियों से सीखने को मिलता है.. उस अमृत की...
यूं तो दुर्गा मां वर्ष भर ही पूजनीय है.. लेकिन नवरात्रि के दौरान देवी पूजन तथा कन्या पूजन का विशेष महत्व होता है। माता के भक्तों के लिए ये नौ दिन कुछ अलग ही सुकून देने वाले होते है, भक्तों द्वारा पूरे नौ दिनों तक मां की पूजा अर्चना की जाती है। हमारे ग्रंथों के अनुसार ब्रह्मा, विष्णु, महेश द्वारा मां दुर्गा की उत्पत्ति हुई। अष्टभुजाओं में शस्त्र लिए तथा चेहरे पर मुस्कान लिए मां सिंह की सवारी करती है। कई राक्षसो का वध करने वाली मां दुर्गा ने मुश्किल समय में भी देवताओं की मदद कर अपने आपको आदिशक्ति साबित किया है।।
तो चलिए फिर हम भी इन नवरात्रि में जाने की आदिशक्ति के नौ रूपों से हमें क्या शिक्षा मिलती है:-
1. मुस्कान से मुश्किल हल:- जब भी हम मां देखते है तो सबसे पहले हमें आकर्षित करती है उनकी मोहक मुस्कान । जी हां उनकी मुस्कान हमें बताती है की जीवन में कितनी भी मुश्किलें हो लेकिन हमें मुस्कान का दामन कभी नहीं छोड़ना चाहिए। बल्कि प्यारी सी मुस्कान के साथ हमें मुकाबला करना चाहिए।
2. हर किरदार को महत्व देना:- हम सब अपने जीवन में बहुत सारे किरदार निभाते है.. कभी दादा दादी, नाना नानी, पति पत्नी, भाई बहन, मम्मी पापा, दोस्त। मां के नौ रूप हमें सिखाते है की समय आने पर हमें अपने हर किरदार को साबित करने से पीछे नहीं हटना चाहिए।
3. लक्ष्य के प्रति समर्पण:- मां द्वारा महिषासुर का वध तथा अन्य राक्षसों का संहार करना हमें सिखाता है को जीवन में लक्ष्यों का निर्धारण कितना महत्वपूर्ण है। लक्ष्य निर्धारित करने से आपको अपने किए गए कार्यों का विश्लेषण करना आसान हो जाता है।
4. निर्भयता: मां सिंह पर सवार होकर हमें यह सीख देती है की अगर हम सही कार्य कर रहे हैं तथा हमारा मकसद सेवाभाव का है तो हमें किसी से भी बिना डरे अपना कार्य करते रहना चाहिए। जीवन के रास्तों को हमें निर्भयता से पर करना चाहिए।
5. हर पल सीखने की कोशिश: मां दुर्गा के उत्त्पति तथा उनका आपने कार्य करना...देवताओं की मदद के लिए hr समय खड़े रहना.. तथा उनके ब्रह्मा, विष्णु, महेश द्वारा निर्धारित लक्ष्यों को पूरा करना तथा हर पल उनसे सीखते रहना हमें सिखाता है की हमें अपने जीवन में हर पल सीखने की कोशिश करनी चाहिए। वो कहा है ना किसी ने की सीखने की कोई उम्र नहीं होती।।
तो दोस्तों आज के लिए सिर्फ इतना ही..फिर मिलते है किसी नए विषय के साथ.. तब तक आप ख्याल रखिए अपना और अपनो का...
जय माता दी।।
Very nice... Jai mata di.. god bless you... Keep going
जवाब देंहटाएंJay mata di.. 🙏🙏👌👌
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